दढ़ियाल
नगर में शुक्रवार की रात को भगवान राम का बाण लगते ही अधर्मी रावण धूं-धूंकर जल उठा। अभिमानी रावण के खात्मे से चारों ओर खुशी की लहर दौड़ पड़ी। आतिशबाजी के बीच जय सियाराम-जय सियाराम के जयकारें से पूरा मैदान गूंज उठा। उसके बाद लोगों ने मेले में जमकर खरीदारी की। जबकि कलाकारों ने मंचन किया।
नगर में आदर्श रामलीला कमेटी की ओर से 16 अक्टूबर से रामलीला मैदान में अयोध्या से आए मूलचंद्र शर्मा की नाटक कम्पनी के कलाकारों द्वारा मंचन किया जा रहा है। जिसमें श्री राम के जन्म से लेकर सीता हरण को दिखाया गया। शुक्रवार की रात इस बीच विभीषण ने भगवान राम के कान में रावण की मौत का राज बताया।
उसके बाद श्री राम ने रावण की नाभि में तीर मार दिया। रावण की हैचित्कार से तीनों लोक कांप उठे। लंकेश जमीन पर तड़प कर प्राण त्याग देता है। इसके साथ ही भगवान श्रीराम, लक्ष्मण और वीर बजरंगी के जयकारों से वातावरण गूंज उठता है।
उसके बाद आतिशबाजी की गई। मेला देखने के लिए हजारों की संख्या में लोग मौजूद रहे। बच्चों ने अपनी मनपसंद के खिलौने खरीदे जबकि झू लो का भी आनंद लिया।
इस दौरान रामलीला कमेटी के अध्यक्ष रामचंद्र सिंह चौहान, रमेश सिंह चौहान, राजेंद्र सिंह, गुड्डू चौहान, बाबूराम सैनी,चिंटू चौहान, सहित गढ़मान्य लोग मौजूद रहे। वहीं सुरक्षा की दृष्टि से पुलिस फोर्स तैनात रहा।